7 अक्टूबर को इंदिरा गांधी जनजाति विश्वविद्यालय अमरकंटक में सिकल सेल की बीमारी को लेकर मध्यप्रदेश के राज्यपाल मंगू भाई पटेल की उपस्थिति में एक कार्यक्रम आयोजित किया गया था। इस कार्यक्रम पर और विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा राज्यपाल को सिकलसेल बीमारी के बारे में दी गई जानकारी पर पुष्पराजगढ़ के विधायक फुंदेलाल सिंह मार्को ने अमरकंटक थाना में शिकायत दर्ज कराई है।
विधायक फुंदेलाल सिंह का कहना है कि विश्वविद्यालय प्रशासन ने राज्यपाल को सिकलसेल बीमारी के संबंध में गलत सूचना दी है। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय द्वारा बीमारी से पीड़ित लोगों के ब्लड सैंपल लेने, ब्लड सैंपल की जांच, इलाज और बीमारी से पीड़ित लोगों की संख्या के संबंध में राज्यपाल को भ्रामक जानकारियां दी गई हैं।
विधायक का आरोप है कि आईसीएमआर की गाइडलाइन के तहत इस बीमारी के जांच और इलाज के लिए विश्वविद्यालय के प्रोजेक्ट के स्टाफ किसी भी तरह से अधिकृत नहीं थे। इसके बावजूद भी इन लोगों से जांच कराई गई और लोगों की जान के साथ खिलवाड़ किया गया। उनका कहना है कि प्रोजेक्ट में फर्जी स्टाफ और फर्जी प्रयोगशाला में सिकलसेल बीमारी का रिसर्च कराया जा रहा है।
बीमारी से इतर विधायक ने विश्वविद्यालय प्रशासन पर आईसीएमआर के प्रोजेक्ट में फर्जी भर्तियां करने का भी आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि अगस्त 2019 में आईसीएमआर द्वारा 4 पदों के लिए विज्ञापन दिया गया था जिसमें विश्वविद्यालय प्रशासन ने अपने लोगों को लाभ दिलाने के लिए न्यूनतम योग्यता के उलट गलत मापदंड तय कर दिए और जान पहचान के लोगों की पदों पर भर्तियां करा दीं। विधायक फुन्देलाल सिंह ने कहा कि साइंटिस्ट सी के पद पर प्रोजेक्ट की पीआई ने स्वयं इंटरव्यू समिति में बैठकर अपने पति का चयन करा दिया है और इस तरह अन्य पदों के साथ भी फर्जीवाड़ा किया गया है।
पुष्पराजगढ़ विधायक की अपील है कि पुलिस विभाग द्वारा जल्द से जल्द इन शिकायतों पर कार्यवाही की जानी चाहिए और निष्पक्ष जांच करते हुए विश्वविद्यालय प्रशासन पर एक्शन लिया जाना चाहिए।